Thursday, January 25, 2018

यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है




एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है 
जाती,कौम से रख परे,यह धर्म प्रेम-वतन का है 
राजपथ का पथ भी है,कहीं लहू बहाता मत भी है
संविधान के धाम में, यह दिवस शौर्य कथन का है 
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 
आज़ादी के लक्ष्य के बीच देशद्रोही कितने आये 
की अंग्रेज़ भी टिक न पाए
आहूति की ज्वाला का यह दिवस वीरों के कण का है 
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 


संघर्ष की बड़ी लड़ाई लड़ी सभी शहीदों ने 
तब जाकर वो अमर हुए इतिहास के अक्षर,ईटों में 
सुना बड़ा करुण क्रंदन था 
उन बंदिश की चीखों में 
आज भी बड़े सुनाते हैं यह दिवस, न्यौछावर जीवन का है 
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 


बड़ी सुनी हैं प्रेम कथाएं पर देश प्रेम सी कथा न कोई  
हँसते-हँसते प्राण चढ़ाये,यह देश-प्रेम वंदन का है 
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 

वीरों ने बलिदान दिया था, राष्ट्र ध्वज,सम्मान दिया था 
सत्य,अहिंसा,प्रेम सिखाया,आज़ादी का अभिमान दिया था 
फिर आज भी क्यों संघर्ष है जारी 
भ्रष्ट हुयी मानवता सारी


फिर चल रहा युद्ध है भारी,ये दृश्य क्या फिर खंडन का है?
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 

हँसता भविष्य स्वप्न था उनका ,फिर पूर्ण स्वराज उपहार दिया 
जनता को कहने,सुनने और चुनने का अधिकार दिया 


तप किये,मर-मर जिये, मन्नतें और व्रत किये थे 
हाँ यह राष्ट्र दिवस, बिलकुल उस 'अमृत मंथन' सा है 
एक दिवसीय नहीं, यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 

कहीं हैं मिलते गिद्ध से राजा 
कहीं आदमखोर आवाम है 


नहीं ये वैसा देश नहीं कोई और ही हिन्दुस्तान है 
हिन्दू- मुस्लिम मीत थे पहले 
बातों में भी प्रीत थी पहले 


बता रहीं थी नानी मुझको ये राष्ट्र 'विरले सुमन' का है 
एक दिवसीय नहीं यह राष्ट्र दिवस हर दिन का है। 

Love Your Country, Love Your People as Soldiers Do Without Discrimination.
Saluting Our Real Heroes and Pillars of India A very Happy Republic Day.







  
  

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